तुमने तीर चलाया तो कोई बात न थी,
ज़ख्म मैंने जो दिखाया तो बुरा मान गए।
"Zakhm Shayari Images Urdu"
एक दो ज़ख़्म नहीं जिस्म है सारा छलनी दर्द बे-चारा परेशाँ है कहाँ से निकले. सय्यद हामिद।
शरीर पर जो जख्म-ए- निशान हैं, वो बचपन के हैं,
बाद के तो सारे दिल-ओ-दिमाग पर है।
जितने भी जख्म थे सबको सहलाने आये है,
वो माशुक खंजर के सहारे मरहम लगाने आये हैं।
Zakhm Status With Images
कुछ लोग मेरी शायरी से सीते है अपने ज़ख़्म,
कुछ लोगो को मैं चुभता हु एक नोक की तरह।
किसी के दर्द की दवा बनो,
जख्म तो हर इन्सान देता है।
गलत कहते है लोग की सफेद रंग मै वफा होती है दोस्तो,
अगर ऐसा होता तो आज नमक जख्मो की दवा होता।
"Zakhm Hindi Status"
ज़ख़्मों के बावजूद मेरा हौसला तो देख,
तू हँसी तो मैं भी तेरे साथ हँस दिया।
जख्म ही देना था तो पूरा जिस्म तेरे हवाले था,
लेकिन कम्बख़त ने जब भी वार किया, दिल पर ही किया।
मरहम की ज़रूरत नही है मुझे,
ज़ख्म देकर कम से कम हाल तो पूछ लिया करो।
Hindi Zakhm Shayari
ज़ख्म ताज़ा हैं अभी यूँ न लगाओ मरहम,
दर्द बढ़ जाता है कुछ और भी सहलाने से।
कुछ जख्म भी सदियों बाद भी ताजा रहते है फ़राज़,
वक़्त के पास भी हर मर्ज़ की दवा नहीं होती।
तुम मुझ पर लगाओ मै तुम पर लगाता हूँ,
ये जख्म मरहम से नही आरोपो से भर जायेंगे।
ज़ख्म शायरी 2 लाइन
ए इश्क मुझको कुछ और जख्म चाहियें,
अब मेरी शायरी में वो बात नहीं रही।
नमक तुम हाथ में लेकर, सितमगर सोचते क्या हो,
हजारों जख्म है दिल पर, जहाँ चाहो छिड़क डालो।
हाथ ज़ख़्मी हुए तो कुछ अपनी ही खता थी,
लकीरों को मिटाना चाहा, किसी को पाने की खातिर।
"ज़ख्म शायरी Urdu"
मेरी चाहत को मेरे हालात के तराजू में कभी मत तोलना,
मैंने वो ज़ख्म भी खाए है, जो मेरी किस्मत में नहीं थे।
किसी के ज़ख़्म पर चाहत से पट्टी कौन बांधेगा,
अगर बहनें नहीं होंगी तो राखी कौन बांधेगा।
देर तो लगती है उसको भरने में,
जिस जख्म में शामिल हो अपनों की इनायत।
One Line Zakhm Shayari
हर सितम सह कर कितने गम छिपाए हमने तेरी खातिर हर दिन आंसू बहाये हमने
तू छोड़ गया जहाँ हमें राहों में अकेला बस तेरे दिए जख्म हर एक से छिपाए हमने।
ज़ुबान खामोश आँखों में नमी होगी यही बस मेरी एक दास्ताँ -ऐ-जिंदगी होगी ,
भरने को हर जख्म भर जायेगा कैसे भरेगी वो जगह जहाँ तेरी कमी होगी।
फिर कोई जख्म मिलेगा तैयार रह ऐ दिल,
कुछ लोग फिर पेश आ रहे हैँ बहुत प्यार से।
Zakhm Shayari Images
वो जान गयी थी हमें दर्द में मुस्कराने की आदत हैं,
वो रोज नया जख्म देती थी मेरी ख़ुशी के लिए।
मुस्कराहट यूँ मेरे दिल के जख्मों को छुपा लेती है,
माँ जैंसे अपने बच्चों के ऐबों को सबसे छुपा लेती है।
न ज़ख्म भरे, न शराब सहारा हुई,
न वो वापस लौटीं,
न मोहब्बत दोबारा हुई।
"ज़ख्म शायरी 2 लाइन"
ज़ख़्मों के बावजूद मेरा हौसला तो देख,
तू हँसी तो मैं भी तेरे साथ हँस दिया।
ये तेरी जुदाई का यादगार है वरना एक जख्म भरने में देर कितनी लगती है।
किसी का ऐब तलाश करने वाले मिसाल,
उस मक्खी के जैसी है जो सारा खूबसूरत जिस्म छोड सिर्फ़ ज़ख्म पर बैठती है।
Zakhm Poetry In Urdu
आज भी बहता है उसका दिया हुआ जख्म मैं चाह कर भी उसे सी ना पाया,
बस कहने के लिए ही ज़िंदा हूँ मैं तो यारों पर मर्जी के साथ कभी जी ना पाया।
जब लगा था तीर तब इतना दर्द न हुआ,
ज़ख्म का एहसास तब हुआ जब कमान देखी अपनों के हाथ में।
ज़ख़्म ऐसा दिया की कोई दवा काम नहीं आई आग ऐसी लगाई की पानी से भी बुझ ना पायी,
आज भी रोते है उनकी याद में जो छोड़ कर चले गए और उन्हें हमारी याद तक ना आ।
आज भी बहता है उसका दिया हुआ जख्म मैं चाह कर भी उसे सील ना पाया,
बस कहने के लिए ही जिन्दा हूँ मैंतो यारों पर मर्जी के साथ कभी जी नहीं पाया।
Best Zakhm Shayari In Hindi Urdu
हर जख्म किसी ठोकर की मेहरबानी है,
मेरी जिंदगी बस एक कहानी है,
मिटा देते सनम के दर्द को सीने से,
पर ये दर्द ही उसकी आखिरी निशानी है।
टूटे हुए सपने को सजाना आता है,
रूठे हुए दिल को मनाना आता है,
उसे कह दो हमारे जख्म की फ़िक्र न करे,
हमें दर्द में भी मुस्कुराना आता है।
किसी के ज़ख्म का मरहम,
किसी के ग़म का ईलाज,
लोगो ने बाँट रखा है मुझे दवा की तरह।
Zakhm Shayari For FB
छोटे से दिल में गम बहुत है,
जिन्दगी में मिले जख्म बहुत हैं,
मार ही डालती कब की ये दुनियाँ हमें,
कम्बखत दोस्तों की दुआओं में दम बहुत है।
जीवन में ज़ख्म बड़े नहीं होते हैं,
उनको भरने वाले बड़े होते हैं,
रिश्ते बड़े नहीं होते हैं,
लेकिन रिश्तों को निभाने वाले बड़े होते हैं।
बहुत हो चुका इंतजार उनका अब और जख्म सहे जाते नहीं,
क्या बयान करे उनके सितम को,
दर्द उनके अब कहे जाते नहीं।
Zakhm Shayari In Hindi Images
ज़ख्म की बात नहीं है जाने क्यों दर्द होता है,
धोखे की बात नहीं है जाने क्यों एहसास होता है,
जानते हुए की वो बेवफा है,
ना जाने फिर भी प्यार क्यों होता है।
फिर चोट खा गए हैं इस जख्मी जिगर पे,
फिर आज रो रहे हैं हम गमगीन नजर से,
ये रोज ही होता है कि तुम याद आते हो,
दिल रोज कराहता है माज़ी के कहर से।
चाहतो से दिल में गम बहुत हैं,
जिन्दगी में मिले जख्म बहुत हैं,
मार ही डालती दुनिया कब की हमें,
मगर दोस्तों की दुआओं में दम बहुत हैं।
"2 Line Zakhm Poetry"
जिंदगी जख्मों से भरी हैं,
वक़्त को मरहम बनाना सीख लो,
हारना तो मौत के सामने हैं,
फ़िलहाल ज़िन्दगी से जीतना सीख लो।
दिल में है जो दर्द वो किसे बताए,
हँसते हुए ज़ख्म को किसे दिखाए,
कहती है ये दुनिया हमे खुशनसीब,
मगर नसीब की दास्तान किसे सुनाए।
जख्म देना का अंदाज कुछ ऐसा है,
जख्म देकर पूछते है अब हाल कैसा है,
जहर देकर कहते है पीना ही होगा,
जब पी गए तो कहते है अब जीना ही होगा।
Zakhm Shayari For WhatsApp
जख्म जब मेरे सीने के भर जायेंगें,
आसूं भी मोती बन कर बिखर जायेंगे,
ये मत पूछना किस-किस ने धोखा दिया,
वर्ना कुछ अपनों के चेहरे उतर जायेंगें।
ज़ख्म इतने गहरे हैं इज़हार क्या करें,
हम खुद निशान बन गए वार क्या करें,
मर गए हम मगर खुलो रही आँखें,
अब इससे ज्यादा इंतज़ार क्या करें।
पास आकर सभी दूर चले जाते हैं,
अकेले थे हम अकेले ही रह जाते हैं,
इस दिल का दर्द दिखाएँ किसे,
मल्हम लगाने वाले ही जख्म दे जाते हैं।
Zakhm Shayari In Hindi
दर्द भी वो दर्द जो दवा बन जाये,
मुश्किलें बढ़ें तो आसां बन जाये,
जख्म पा कर सिर झुका देता हूँ,
जाने कौन पत्थर ख़ुदा बन जाये।
आंसूओ को पलकों तक लाया मत करो,
दिल की बात किसी बताया मत करो,
लोग मुट्ठी में नमक लिया फिरते है,
ज़ख्म ये अपने किसी को दिखाया मत करो।
राज दिल में छुपाये रहते हैं,
अपने आँखों से छलकने नहीं देते,
क्या ज़ालिम अदा है उस हसीं की,
ज़ख्म भी देते हैं और तड़पने नहीं देते।
Zakhm Shayari
जिंदगी ज़ख्मों से भरी है,
वक़्त को मरहम बनाना सीख लो,
हारना तो है एक दिन मौत से,
फिलहाल दोस्तों के साथ जिंदगी जीना सीख लो।
तुम्हारे चाँद से चहरे पे,गम अच्छे नही लगते,
हमे कह दो चले जाओ,जो हम अच्छे नही लगते,
हमे वो जख्म दे जाना,जो सारी उम्र ना भर पाये,
जो जल्दी भर के मिट जाए,वो जख्म अच्छे नही लगते।
मत रख हमसे वफा की उम्मीद,
हमने हर दम बेवफाई पायी है,
मत ढूंढ हमारे जिस्म पे जख्म के निशान,
हमने हर चोट दिल पे खायी है।
Shayar On Zakhm
मैं हँसकर अपना दर्द सुनाऊंगा,
तुम रो भी नही पाओगे,
मेरे जख्मों को आज कुरेदे गर,
तुम सो भी नही पाओगे।
तुझसे अच्छे तो जख्म हैं मेरे,
उतनी ही तकलीफ देते हैं,
जितनी बर्दास्त कर सकूँ।
मैं जख्म खरीदता हूँ,
मोहब्बत के भाव में,
जख्म है कि दिखते नही,
मगर ये मत समझिए कि दुखते नही।
"जख्म Status"
दर्द कितने है बता नहीं सकता,
जख्म कितने है दिखा नहीं सकता.
आँखों से समझ सको तो समझ लो,
आंसू गिरे है कितने गिना नहीं सकता।
एक ही ज़ख़्म नही पूरा वजूद ही ज़ख़्मी है,
दर्द भी हैरान है आख़िर कहां कहां से उठे।
चोट लगी तो अपने अन्दर चुपके चुपके रो लेते हो,
अच्छी बात है आसानी से जख्मों को तुम धो लेते हो.
दिन भर कोशिश करते हो सबको गम का दरमाँ मिल जाये,
नींद की गोली खाकर शब भर बेफ़िक्री में सो लेते हो।