Manzil Shayari Status Images In Hindi मंजिल शायरी स्टेटस का बेहतरीन कलेक्शन
Mukesh KumarJuly 13, 2024
Manzil Shayari में मिलेगा मंजिल शायरी से जुडी शानदार बेहतरीन, 2 Line Manzil Poetry Images जिसे आप Facebook-WhatsApp पर साझा भी कर सकते हैं।
Manzil Shayari Status Images In Hindi
मैं अकेला ही चला था जानिब-ए-मंज़िल मगर लोग साथ आते गये और कारवाँ बनता गया।
एक रास्ता यह भी है मंजिलों को पाने का,
कि सीख लो तुम भी हुनर हाँ में हाँ मिलाने का।
Gumrah Manzil Par Shayari
सफ़र से इश्क करना सीखों,
मंजिल तो कुछ पल की मेहमान है।
ना मंजिल, ना मकसद, ना रास्ते का पता है,
हमेशा दिल किसी के पीछे ही चला है।
"Beautiful Manzil Status"
मिलना किस काम का अगर दिल ना मिले,
चलना बेकार है जो चलके मंजिल ना मिले।
रास्ते कहां ख़त्म होते हैं ज़िंदग़ी के सफ़र में,
मंज़िल तो वहां है जहां ख्वाहिशें थम जाएं।
Manzil Par Shayari
ये क्या उठाये कदम और आ गयी मंजिल,
मज़ा तो तब है कि पैरों में कुछ थकान रहे।
मंज़िले हमारे करीब से गुज़रती गयी जनाब और हम औरो को रास्ता दिखाने में ही रह गये।
Beautiful Manzil Status
मंजिल मिल ही जायेगी भटकते-भटकते ही सही,
गुमराह तो वो है जो घर से निकलते ही नहीं।
एक न एक दिन मंजिल हासिल कर ही लूँगा,
ठोकरें जहर तो नहीं जो खाकर मर जाऊँगा।
Best Manzil Shayari In Hindi
मिट्टी का तन है, क्या दिन रात सजाना,
मिट्टी ही मंजिल, तन पर क्या इतराना।
मंजिल तो मिल गई अब सफ़र कैसा,
जब ख़ुदा तेरे साथ है फिर डर कैसा।
"Manzil Aur Khuda Par Shayari"
सामने हो मंजिल तो रास्ते ना मोड़ना, जो भी मन में हो वो सपना मत तोड़ना,
कदम कदम पर मिलेगी मुश्किल आपको बस सितारे छूने के लिए जमीन मत छोड़ना।
ऐसे चुप है कि ये मंजिल भी कड़ी हो जैसे,
तेरा मिलना भी जुदाई की घड़ी हो जैसे।
Manzil Aur Khuda Par Shayari
दिल बिन बताएं मुझे ले चला कहीं,
जहाँ तू मुस्कुराएँ मेरी मंजिल वहीं।
मेरी हर अदा का आइना तुझसे है,
मेरी हर मंजिल का रास्ता तुझसे है,
कभी दूर न होना मेरी जिन्दगी से मेरी हर ख़ुशी का वास्ता तुझसे है।
"Motivational Manzil Status With Images"
सफर खूबसूरत होता है,
मंज़िल से भी ज़्यादा।
अगर दिलकश हो रास्ता,
फिर तो फिकर ही नहीं है,
ना मिले मंजिल ना सही,
फिर भी जिन्दगी हंसीं है।
Romantic Manzil Shayari
ना किसी से कोई ईर्ष्या,
ना किसी से कोई होड़,
मेरी अपनी मंजिल मेरी अपनी दौड़।
कितना मुश्किल है बड़े हो कर बड़े रहना भी,
अपनी मंजिल पर पहुँचना भी खड़े रहना भी।
Motivational Manzil Status With Images
सोचने से कहाँ मिलते है तमन्नाओं के शहर,
चलना भी जरूरी है मंजिल को पाने के लिए।
जो तूफानों से डर जाओगे,
तुम अपनी किश्ती को कैसे पार लगाओगे,
डर के आगे जीत है जिस दिन तुम यह समझ जाओगे अपनी मंजिल तक खुद ही पहुँच जाओगे।
Manzil WhatsApp Status
कोई मंज़िल के क़रीब आ के भटक जाता है,
कोई मंज़िल पे पहुँचता है भटक जाने से।
इन उम्र से लम्बी सड़को को मंज़िल पे पहुंचते देखा नहीं
बस दोड़ती फिरती रहती हैं हम ने तो ठहरते देखा नहीं।
Manzil Status With Images
कब मिल जाए किसी को मंजिल ये मालूम नहीं,
इंसान के चेहरे पर उसका नसीब लिखा नहीं होता।
जहाँ याद न आये तेरी वो तन्हाई किस काम की बिगड़े रिश्ते न बने तो
खुदाई किस काम की बेशक़ अपनी मंज़िल तक जाना है हमें
लेकिन जहाँ से अपने न दिखें वो ऊंचाई किस काम की।
"Manzil Shayari in Hindi"
मंजिल उन्हीं को मिलती है जिनके सपनों में जान होती है,
पंख से कुछ नहीं होता, हौसलों से उड़ान होती हैं।
किसी की सलाह से रास्ते जरूर मिलते है,
पर मंजिल तो खुद की मेहनत से ही मिलती हैं।
"Manzil Shayari With Images For Facebook"
मंजिल मिले या ना मिले,
ये तो मुकद्दर की बात है,
हम कोशिश भी ना करे ये तो गलत बात हैं।
कभी उनको मिलती नहीं कोई मंजिल,
बदलते है जो हर कदम पर इरादें।
"Manzil Shayari 2 Lines"
हल मुश्किल का पाने के लिए दिमागी पेच लड़ाने पड़ते हैं,
बैठे-बैठे मंजिल नहीं मिलती कुछ कदम बढ़ाने पड़ते हैं।
मुश्किलें जरूर है, मगर ठहरा नहीं हूँ मैं,
मंजिल से जरा कह दो, अभी पहुँचा नहीं हूँ मैं।
Manzil Shayari With Images For Facebook
कोशिश के बावजूद हो जाती है कभी हार,
होकर निराश मत बैठना ऐ मेरे यार,
बढ़ते रहना आगे ही जैसे भी मौसम हो,
पा लेती मंजिल चींटी भी गिर फिर कर कई बार।
रोक नहीं सकता कोई, मन से इतना कहना होगा,
मंजिल को पाने के लिए कठिन रास्तों पर चलाना होगा।
Heart Touching Manzil Images Shayari
ठोकर खाने का सिलसिला अभी थमा नहीं है,
लगता है मुझे अभी तक मेरा मंजिल मिली नहीं है।
मंज़िल का पता है न किसी राहगुज़र का बस एक थकन है कि जो हासिल है सफ़र का।
Manzil Shayari In Hindi
मंज़िल जुदा राहें जुदा फिर भी जुदा नहीं,
वो चला गया पर क्यों मैं उससे ख़फा नहीं।
गम में डूबी मेरी हर आहें है,
मंजिल का पता नहीं और काँटों भरी राहें है।
Manzil Poetry Images
बहुत गुरूर था, छत को छत होने पर,
एक मंजिल और बनी और वो छत फर्श हो गई।
कामयाबी के लिए जरूरी है सही रास्ता चुनना,
किसी भी रास्ते पे चलने से मंजिल नहीं मिलती।
"Motivational Manzil Shayari With Images"
मंजिल भी उसकी थी, रास्ता भी उसका था,
एक मैं ही अकेला था,बाकि सारा काफ़िला भी उसका था,
एक साथ चलने की सोच भी उसकी थी और बाद में रास्ता बदलने का फैसला भी उसी का था।
मंजिल मिलने से दोस्ती भुलाई नहीं जाती हमसफ़र मिलने से दोस्ती मिटाई नहीं जाती
दोस्त की कमी हर पल रहती है यार दूरियों से दोस्ती छुपाई नहीं जाती।
"Meri Manzil Shayari"
अगर निगाहे हो मंजिल पर और कदम हो राहों पर,
ऐसी कोई राह नहीं जो मंजिल तक न जाती हो।
जिस दिन से चला हूं मेरी मंज़िल पे नज़र है,
आंखों ने कभी मील का पत्थर नहीं देखा।
Manzil Shayari Hindi
किसी को घर से निकलते ही मिल गई मंजिल,
कोई हमारी तरह उम्र भर सफ़र में रहा।
ना जाने क्यों इंसान को इंसान होने पर गुमान है,
जबकि सफर ताउम्र है और मंजिल दो गज मकान है।
"Manzil Aur Zindagi Par Shayari"
मुश्किलों से हारना हमें आता नहीं,
कोई कितना भी रोके रूक जाना हमे आता नहीं,
लोग कोशिश छोड़ देते है अपनी मंजिल को पाने की पर बिना मंजिल को पाए रूक जाना हमे आता नहीं।
ख़ुद पुकारेगी जो मंजिल तो ठहर जाऊँगा,
वरना खुद्दार मुसाफ़िर हूँ गुजर जाऊँगा।
"Manzil Shayari In Hindi"
यूँ जमीन पर बैठकर क्यूँ आसमान देखता है,
पंखों को खोल जमाना सिर्फ़ उड़ान देखता है,
लहरों की तो फितरत ही है शोर मचाने की मंजिल उसी की होती है जो नजरों में तूफ़ान देखता है।
सीढ़िया उन्हें मुबारक हो जिन्हें सिर्फ़ छत तक जाना है,
मेरी मंजिल तो आसमान है रास्ता मुझे ख़ुद बनाना है।
Manzil Aur Zindagi Par Shayari
कभी कभी लंगड़े घोड़े पे दाव लगाना ज्यादा सही होता है,
क्योंकि दर्द जब जूनून बन जाए तब मंजिल बहुत नजदीक लगने लगती हैं।
मंजिल सामने थी मगर रास्ते कहीं खो गये,
हम तुम अपने घरों के वास्ते कहीं खो गये।
Poetry On Manzil
मंजिल इंसान के हौसलें आजमाती है, सपनों के पर्दे, आँखों से हटाती है,
किसी भी बात से हिम्मत ना हारना ठोकर ही इंसान को चलना सिखाती है।
ख हौसला वो मंज़र भी आएगा,
प्यासे के पास चल के समन्दर भी आएगा,
थक कर ना बैठ ऐ मंजिल के मुसाफ़िर मंजिल भी मिलेगी,
और मिलने का मज़ा भी आएगा।
"Manzilo Par Shayari"
डर मुझे भी लगा फ़ासला देख कर,
पर मैं बढ़ता गया रास्ता देख कर,
ख़ुद-ब-ख़ुद मेरे नजदीक आती गई,
मेरी मंजिल मेरा हौंसला देख कर।
रास्ते मुश्किल है पर हम मंज़िल ज़रूर पायेंगे ये जो
किस्मत अकड़ कर बैठी है इसे भी ज़रूर हरायेंगे।
Shayari On Manzil
रास्तों की परवाह करूँगा, तो मंजिल बुरा मान जायेगी,
फ़िक्र छोड़ दूँ रास्तों की तो मंजिल ख़ुद ही मेरे पास आती नजर आएगी।
मंज़िल पा ली मैंने ठोकरें खा कर,
लेकिन मरहम ना पा सका मंजिल पाकर।
Manzilo Par Shayari
जो नज़रें रूकती नहीं ढूढंते हुए मंज़िल-ए-अहम उन नज़रों की गिरफ़्त में एक ज़माना आज भी क़ैद हैं।
ठोकरे मिलती है सफलता की राहों में यह हर कोई जानता है,
पर मंजिल सिर्फ उसी को मिलती है जो कभी हार नहीं मानता है।
Manzil Status
मंज़िल होगी आसमाँ ऐसा यकीं कुछ कम है,
अपने नक्शे के मुताबिक़ ये ज़मीं कुछ कम है।
किस हद तक जाना है ये कौन जानता है किस मंजिल को पाना है ये कौन जानता है,
दोस्ती के दो पल जी भर के जी लो किस रोज़ बिछड जाना है ये कौन जानता है।
"Manzile Shayari"
ये राहें ले ही जाएँगी मंज़िल तक हौसला रख कभी सुना है कि अंधेरों ने सवेरा ना होने दिया।
हर सपने को अपनी साँसों में रखे हर मंज़िल को अपनी बाहों में रखे
हर जीत आपकी ही है बस अपने लक्ष्य को अपनी निगाहों में रखे।
"Manzil Rasta Shayari"
उल्फत में अक्सर ऐसा होता है, आँखें हंसती है और दिल रोता है,
मानते है हम जिन्हें मंजिल अपनी हमसफ़र उनका कोई और होता हैं।
रास्तों पर निगाह रखने वाले भला मंज़िल कहाँ देख पाते हैं
मंज़िलों तक तो वही पहुँचते हैं जो रास्तों को नज़रअंदाज़ कर जाते हैं।
Manzile Shayari
बेताब तमन्नाओ की कसक रहने दो मंजिल को पाने की कसक रहने दो
आप चाहे रहो नज़रों से दूर पर मेरी आँखों में अपनी एक झलक रहने दो।
ये भी क्या मंज़र है बढ़ते हैं न रुकते हैं
क़दम तक रहा हूँ दूर से मंज़िल को मैं मंज़िल मुझे।
Manzil Rasta Shayari
सपनों की मंजिल पास नहीं होती,
जिन्दगी हर पल उदास नहीं होती,
ख़ुदा पर यकीन रखना मेरे दोस्त,
कभी-कभी वो भी मिल जाता है जिसकी आस नहीं होती।
मंज़िले ख़ुद राह दिखाती है अग़र ख़्वाहिश बुलन्द हो
तो खुदा की रहमत मंज़िल बन जाती है।
"Manzilo Par Shayari"
मायूस हो गया हूँ जिंदगी के सफ़र से इस कदर,
कि ना ख़ुद से मिल पा रहा हूँ ना मंजिल से।
मेरी पतंग भी तुम हो उसकी ढील भी तुम,
मेरी पतंग जहां कटकर गिरे वह मंज़िल भी तुम।
"Raste Aur Manzil Par Shayari"
ना पूछों कि मेरी मंजिल कहाँ है,
अभी तो सफ़र का इरादा किया है,
ना हारूँगा हौसला उम्र भर ये मैंने किसी से नहीं,
खुद से ही वादा किया है।
एक मंज़िल है मगर राह कई हैं,
सोचना ये है कि जाओगे किधर से पहले।
"Zid Aur Manzil Par Shayari"
अपनी मंज़िल पे पहुँचना भी खड़े रहना भी कितना मुश्किल है
बड़े हो के बड़े रहना भी कितना मुश्किल है।
खुद पुकारेगी मंज़िल तो ठहर जाऊँगा,
वरना खुद्दार मुसाफिर हूँ यूँ ही गुज़र जाऊँगा।
Raste Aur Manzil Par Shayari
मंज़िल तो मिल ही जायेगी भटक कर ही सही,
गुमराह तो वो हैं जो घर से निकला ही नहीं।
रफ़्ता-रफ़्ता मेरी जानिब मंज़िल बढ़ती आती है,
चुपके-चुपके मेरे हक़ में कौन दुआएं करता है।
Zid Aur Manzil Par Shayari
मंज़र धुंधला हो सकता है मंज़िल नहीं,
दौर बुरा हो सकता है ज़िंदगी नहीं।
मंज़िल पाना तो बहुत दूर की बात है,
गरूर में रहोगे तो रास्ते भी न देख पाओगे।
Heart Touching Manzil Shayari
सिर्फ़ इक क़दम उठा था ग़लत राह-ए-शौक़ में मंज़िल तमाम उम्र मुझे ढूँढती रही।
तू साथ चलता तो शायद मंज़िल मिल जाती,
मुझे तो कोई रास्ता पहचानता नहीं।
"Manzil Par Shayari"
हूँ चल रहा उस राह पर जिसकी कोई मंज़िल नहीं,
है जुस्तजू उस शख़्स की जो कभी हासिल नहीं।
सीढ़ी की आसानी तुम्हे मुबारक हो,
मैंने अपनी दम पर मंज़िल पाई है।
Rasta Aur Manzil Par Shayari
हम खुद तराशते हैं मंजिल के संग ए मील,
हम वो नहीं हैं जिन को ज़माना बना गया।
हौसले बुलंद रखो मंज़िल मिल ही जाएगी
काँटों पर चलने वालों को फूलों की राह मिलेगी!!।
Manzil Shayari For Facebook
नहीं निगाह मे मंज़िल तो जुस्तजू ही सही,
नहीं विसाल मयस्सर तो आरज़ू ही सही।
मंज़िल को हासिल करने वाले अक्सर देर तक नही सोते।
"Gumrah Manzil Par Shayari"
जिंदगी न मंज़िल में मिली और न राहों में मिली,
ज़िन्दगी जब भी मिली तेरी ही बाहों में मिली।
बढ़ते चले गए जो वो मंज़िल को पा गए,
मैं पत्थरों से पाँव बचाने में रह गया।
Hindi Manzil Shayari For Facebook
पहुँचे जिस वक़्त मंज़िल पे तब ये जाना,
ज़िन्दगी रास्तों में बसर हो गई।
चलता रहूँगा मै पथ पर चलने में माहिर बन जाउंगा
या तो मंज़िल मिल जायेगी या मुसाफिर बन जाउंगा।
मंज़िल को पाने की अक्सर ज़िद में पलते है,
वह दुनिया जीत लेते है जो अकेले चलते है।